हमें जो फिल्मो में जो लव स्टोरी दिखाई जाती है अशल में वैसा रियाल लाइफ में नहीं होता है हालांकि हर लव स्टोरी कड़वाहट के साथ खत्म हो जाए, ऐसा भी नहीं होता। लेकिन इसे सिर्फ फूलों की सेज भी नहीं माना जा सकता। ज्यादातर मामलों में लोगों को पहला प्यार स्कूल और कॉलेज के दिनों में होता है। स्कूल और कॉलेज का यह प्यार जिंदगीभर का साथ हो, इस बात की गुंजाइश कम ही होती है। पर क्या आपने कभी यह सोचा है कि आखिर पहला प्यार असफल क्यों रह जाता है।
बहुत कुछ सिखाता है पहला प्यार
अधिकतर लोगों ने यह स्वीकार किया है कि पहले प्यार के फेल होने के बाद उन्होंने काफी कुछ सीखा। शुरू-शुरू में हर टीनएज कपल को लगता है कि प्यार का मतलब सिर्फ रोमांस ही होता है लेकिन ऐसा है नहीं। रिलेशनशिप में बहुत से उतार-चढ़ाव भी आते हैं, जिन्हें साथ मिलकर पार करना ही पक्के रिश्ते की पहचान है लेकिन ज्यादातर मामलों में कपल इससे पीछे हट जाते हैं।
खींचती हैं छोटी-छोटी चीजें
ज्यादातर लोगों का मानना है कि उनका पहला प्यार ब्रेकअप के साथ खत्म हुआ। दरअसल, पहला प्यार कम उम्र में होता है और उस समय हम न तो भविष्य की बातों के बारे में सोचते हैं और न जीवन की कठिनाइयों के बारे में। उस वक्त तो नई साइकिल, टेस्ट पेपर में अच्छे नंबर, गोरा रंग ये छोटी-छोटी बातें भी आकर्षित करती हैं लेकिन जब असलियत से सामना होता है तो रिश्ता संभालना थोड़ा मुश्किल लगने लगता है।
हॉर्मोनल बदलाव
अधिकतर लोगों को पहला प्यार स्कूल के दिनों में होता है। यह वह चरण होता है जब हमारे भीतर कई तरह के हॉर्मोनल बदलाव हो रहे होते हैं। कई मामलों में पहला प्यार सिर्फ आकर्षण होता है, जिसका चार्म समय के साथ कम होता जाता है और एक वक्त के बाद खत्म।
सबसे अधिक दर्द देता है
एक अध्ययन में कहा गया है कि जितना दर्द पहले प्यार के अधूरे रह जाने पर होता है, उतना और कभी नहीं होता। कई बार यह दर्द इतना अधिक होता है कि लोग डिप्रेशन में चले जाते हैं।